देवउठनी ग्यारस पर बाल विवाह की निगरानी एवं रोकथाम के लिये विकासखण्ड एवं तहसील स्तरीय निगरानी दल गठित

  एकल व सामूहिक विवाह समारोह में बाल विवाह की निगरानी एवं रोकथाम के लिये कलेक्टर श्री अनुराग वर्मा ने विकासखण्ड व तहसील स्तर पर निगरानी दल का गठन किया है।    

    उल्लेखनीय है कि प्रदेश के शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में प्रतिवर्ष देवउठनी ग्यारस, बसंत पंचमी एवं अक्षय तृतीया के अवसर पर बहुत अधिक संख्या में विवाह सम्मेलन आयोजित किये जाते है। इन विवाह समारोह में बाल विवाह होने की संभावनायें होती है। शासन के निर्देशों के पालन में पूर्व वर्ष की भांति इस वर्ष भी देवउठनी ग्यारस 25 नवम्बर को, बसंती पंचमी 16 फरवरी 2021 एवं अक्षय तृतीया 14 मई 2021 को है। इन अवसरों पर जिले के समस्त ग्रामीण, शहरी क्षेत्रों में होने वाले एकल व सामूहिक विवाह समारोहों में बाल विवाह की निगरानी एवं रोकथाम के लिये निगरानी दल गठित किये है।
    दल में संबंधित क्षेत्र के अनुविभागीय अधिकारी राजस्व अध्यक्ष रहेंगे। सदस्य के रूप में अनुविभागीय अधिकारी पुलिस/सीएसपी, संबंधित बाल विकास परियोजना के परियोजना अधिकारी, सभी जनपद पंचायतों में पदस्थ जनपदों के मुख्य कार्यपालन अधिकारी, तहसीलदार, खण्ड चिकित्सा अधिकारी, खण्ड शिक्षाधिकारी और संबंधित क्षेत्र के थाना प्रभारी, नगर निरीक्षक रहेंगे। 
    गठित दल विवाह आयोजनों में निगरानी के दौरान अथवा अन्यत्र सूचना प्राप्त होने पर बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के तहत आवश्यक कार्रवाही करेंगी एवं इन दिनांकों में बाल विवाह की रोकथाम हेतु विकासखण्ड मुख्यालय पर अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) कार्यालय में एक कंट्रॉल रूम की स्थापना करेंगे तथा कृत कार्रवाही का प्रतिवेदन एवं रोके गये बाल विवाह की जानकारी कार्यालय जिला कार्यक्रम अधिकारी महिला बाल विकास विभाग को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करेंगे। जिससे जानकारी संकलित कर रिपोर्ट शासन को भेजी जा सके।

  

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